Cyber Banking Fraud : बैंकिंग फ्रॉड से बचाएगा एक्सिस बैंक का नया इन-ऐप ओटीपी फीचर.

Cyber Banking Fraud : आपने ओटीपी (वन-टाइम पासवर्ड) के जरिए बैंकिंग फ्रॉड के हजारों मामले सुने होंगे। किसी ने फोन करके ओटीपी ले लिया और बैंक अकाउंट खाली कर दिया। बैंक और आरबीआई लगातार लोगों को ओटीपी किसी से शेयर न करने की सलाह देते हैं। अब इस खतरे को भांपते हुए एक्सिस बैंक ने बड़ा कदम उठाया है। बैंक ने ‘इन-ऐप मोबाइल ओटीपी’ की शुरुआत की है। इसके आने के बाद ओटीपी के जरिए फ्रॉड होने की संभावना खत्म हो जाएगी। आइए जानते हैं यह कैसे काम करेगा।

एसएमएस के जरिए ओटीपी भेजने की जरूरत नहीं होगी
एक्सिस बैंक द्वारा लॉन्च किए गए ‘इन-ऐप मोबाइल ओटीपी’ फीचर में एसएमएस के जरिए ओटीपी भेजने की जरूरत नहीं होगी। यह फीचर एसएमएस के जरिए ओटीपी भेजने की जगह ऐप के अंदर ही टाइम-बेस्ड वन-टाइम पासवर्ड (टीओटीपी) जेनरेट करेगा, जिससे टेलीकॉम नेटवर्क पर निर्भरता खत्म हो जाएगी। यानी अगर किसी जालसाज को किसी तरह ओटीपी मिल भी जाए तो वह फ्रॉड नहीं कर पाएगा। साथ ही यह फीचर तेज ऑथेंटिकेशन और फ्रॉड के खतरे को काफी हद तक कम कर देगा। एक्सिस बैंक के अध्यक्ष और डिजिटल बिजनेस एवं परिवर्तन प्रमुख समीर शेट्टी ने कहा: “एक्सिस बैंक में, हम धोखाधड़ी की घटनाओं को कम करने और ग्राहक सुरक्षा में सुधार करने के लिए लगातार कदम उठा रहे हैं।

सिम स्वैप और फ़िशिंग हमलों के बढ़ते मामले

डिजिटल बैंकिंग में साइबर खतरों के बढ़ते मामलों, विशेष रूप से सिम स्वैप और फ़िशिंग हमलों को ध्यान में रखते हुए, इन-ऐप मोबाइल ओटीपी एक डिवाइस-बाउंड और समय-संवेदनशील विकल्प प्रदान करता है जो धोखाधड़ी के जोखिम को कम करेगा। ग्राहक इसका उपयोग इंटरनेट बैंकिंग में लॉग इन करने और लेनदेन को प्रमाणित करने के लिए भी कर सकते हैं। यह सेवा वैश्विक स्तर पर उपलब्ध है और इंटरनेट के माध्यम से काम करती है, इसलिए विदेश यात्रा के दौरान भी प्रमाणीकरण में कोई रुकावट नहीं आती है। इसके अतिरिक्त, ग्राहक को लॉगिन और लेनदेन के प्रयासों की वास्तविक समय की सूचनाएँ मिलती हैं, जिससे खातों पर बेहतर नियंत्रण और पारदर्शिता सुनिश्चित होती है।

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